इंडो नेपाल बॉर्डर पर सुरक्षा ऐसी कि परिंदा भी पर न मार सके, आपरेशन सिंदूर के बाद इंडो नेपाल बॉर्डर की सुरक्षा बढ़ाई गई।

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वाल्मीकि नगर से विवेक कुमार सिंह की रिपोर्ट…

वाल्मीकिनगर। आपरेशन सिंदूर के बाद इंडो नेपाल बॉर्डर स्थित गंडक बराज की सुरक्षा बढ़ा दी गई है। भारत नेपाल सीमा वाल्मीकिनगर बार्डर पर एसएसबी की 21वीं बटालियन के अधिकारी और जवान पूरी मुस्तैदी के साथ सीमा पर लगे हुए हैं। जवानों की ऐसी चौकसी है कि परिंदा भी पर नही मार सकता है। भारत-पाकिस्तान के बीच चल रहे संभावित युद्ध को देखते हुए भारत-नेपाल सीमा पर सुरक्षा व्यवस्था काफ़ी सख्त कर दी गई है। सीमा पर तैनात एसएसबी के जवान नेपाल से आने और नेपाल जाने वाले प्रत्येक व्यक्तियों और उनके समानों की सघन जांच एवं पहचान पत्र देखने के बाद उन्हें जाने दिया जाता है। बता दें कि वाल्मीकिनगर से नेपाल जाने वाली एक मात्र अधिकृत मार्ग गंडक बराज है जहां एसएसबी के पदाधिकारियों और जवानों की चौकसी लगातार बनी हुई है। चार पहिया एवं दो पहिया वाहनों के बोनट और डिक्की की तालाशी करने के बाद ही जाने दिया जाता है। वहीं आने जाने वाले लोगों से उनके पहचान पत्र जांच के बाद ही आने जाने की अनुमति दी जाती है। संदिग्ध लोगों की तालाशी के लिये सीमा पर मेटल डिडेक्टर और स्वान दस्ता से भी जांच की जा रही है। ऐसे में रात दिन पेट्रोलिंग और नाका लगाकर सभी रास्तों पर ज्यादा से ज्यादा जवानों की तैनाती की गई है। किसी तीसरे देश के लोगों का सीमा में प्रवेश ना हो इस बात को लेकर काफ़ी सख़्ती बरती जा रही है।

बिहार पुलिस के जवानों को भी बॉर्डर पर किया गया तैनात

सुरक्षा व्यवस्था को चाक चौबंद करने को लेकर बगहा पुलिस अधीक्षक सुशांत कुमार सरोज के दिशा निर्देश पर बिहार पुलिस में कार्यरत सब इंस्पेक्टर रैंक के अधिकारी को इंडो नेपाल बॉर्डर पर सशस्त्र सीमा बल के जवानों के साथ मिलकर सुरक्षा कार्यों में सहयोग प्रदान करने के लिए तैनात किया गया है। साथ ही साथ वाल्मीकिनगर हवाई अड्डा सहित अन्य महत्वपूर्ण प्रतिष्ठानों की सुरक्षा में पुलिस के जवानों की तैनाती की गई है।

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